बाइलैटरल सिंगुलोटॉमी एक न्यूरोसर्जिकल प्रोसीजर है, जिसकी मदद से मस्तिष्क के फ्रंटल लोब में मौजूद हिस्से में कुछ बदलाव किए जाते हैं। इस हिस्से को एंटीरियर सिंगुलेट रीजन कहा जाता है, जो भावनाओं, याददाश्त और दीर्घकालिक दर्द की भावनाओं आदि को नियंत्रित करता है।
इस सर्जरी को ओसीडी जैसे कुछ मानसिक विकारों और ऐसे दीर्घकालिक दर्द को नियंत्रित करने के लिए किया जाता है, जो दवाओं से ठीक न हो रहे हो।
बाइलैटरल सिंगुलोटॉमी सर्जरी को लोकल एनेस्थीसिया का इंजेक्शन लगाकर किया जाता है, जिसमें सिर्फ वह हिस्सा सुन्न होता है, जहां पर इंजेक्शन लगाया गया है।
सर्जरी से पहले एमआरआई स्कैन किया जाता है, जिससे मस्तिष्क की संरचना का अंदाजा लगा लिया जाता है। हालांकि, सर्जरी को सुरक्षित माना गया है, लेकिन फिर भी इससे कुछ जोखिम हो सकते हैं जैसे रक्तस्राव, वजन बढ़ना, उलझन और दौरे पड़ना।
(और पढ़ें - मिर्गी के दौरे क्यों आते हैं)
- बाइलैटरल सिंगुलोटॉमी क्या है - What is Bilateral cingulotomy in Hindi
- बाइलैटरल सिंगुलोटॉमी किसलिए की जाती है - Why is Bilateral cingulotomy done in Hindi
- बाइलैटरल सिंगुलोटॉमी से पहले - Before Bilateral cingulotomy in Hindi
- बाइलैटरल सिंगुलोटॉमी के दौरान - During Bilateral cingulotomy in Hindi
- बाइलैटरल सिंगुलोटॉमी के बाद - After Bilateral cingulotomy in Hindi
- बाइलैटरल सिंगुलोटॉमी की जटिलताएं - Complications of Bilateral cingulotomy in Hindi
बाइलैटरल सिंगुलोटॉमी क्या है - What is Bilateral cingulotomy in Hindi
बाइलैटरल सिंगुलोटॉमी सर्जरी क्या है?
बाइलैटरल सिंगुलोटॉमी एक न्यूरोसर्जिकल प्रोसीजर है, जिसे ओसीडी और डिप्रेशन जैसे मानसिक विकारों का इलाज करने के लिए किया जाता है। यदि आपको लंबे समय से कोई दर्द है और वह दवाओं से ठीक नहीं हो रहा है, तो ऐसी स्थिति में भी बाइलैटरल सिंगुलोटॉमी सर्जरी की जा सकती है।
मस्तिष्क का एंटीरियर सिंगुलेट रीजन कई अलग-अलग कार्य करता है, जैसे भावनाएं सिखना, भावनाओं को नियंत्रित करना, याददाश्त और लंबे समय तक दर्द महसूस होना आदि। कुछ अध्ययनों में यह पाया गया है कि मस्तिष्क के इस हिस्से में कई मानसिक विकार होने का खतरा रहता है। पोस्ट ट्रॉमेटिक स्ट्रेस डिसऑर्डर, स्क्रिजोफ्रेनिया और डिप्रेशन जैसी स्थितियों से ग्रस्त लोगों के एंटीरियर सिंगुलेट रीजन की गतिविधियां कम हो जाती हैं। हालांकि, जिन लोगों को सोशल एंग्जायटी संबंधी समस्या है, उनके एंटीरियर सिंगुलेट रीजन में गतिविधियां कम हो जाती हैं।
जिन लोगों को लंबे समय से कोई दर्द हो रहा है, उनका इलाज विभिन्न प्रकार की दवाओं से किया जाता है। हालांकि, यदि ये इलाज काम नहीं करते हैं तो यह दर्द स्थिर बन जाता है। ऐसी स्थितियों में बाइलैटरल सिंगुलोटॉमी सर्जरी की जाती है। साथ ही जिन लोगों को एंटीरियर सिंगुलेट रीजन संबंधी कोई मानसिक रोग है, उनकी भी बाइलैटरल सिंगुलोटॉमी सर्जरी की जा सकती है।
बाइलैटरल सिंगुलोटॉमी से मस्तिष्क के इस हिस्से में कुछ महत्वपूर्ण बदलाव कर दिए जाते हैं, जिससे दर्द व अन्य कई मानसिक बीमारियों का इलाज किया जाता है। यह सर्जरी सिर्फ दर्द महसूस होने से रोकती है, इससे दर्द का कारण बनने वाले रोग का इलाज नहीं हो पाता है।
(और पढ़ें - मानसिक रोग दूर करने के घरेलू उपाय)
बाइलैटरल सिंगुलोटॉमी किसलिए की जाती है - Why is Bilateral cingulotomy done in Hindi
बाइलैटरल सिंगुलोटॉमी सर्जरी क्यों की जाती है?
यदि आपको निम्न में से कोई भी समस्या महसूस हो रही है, तो न्यूरोसर्जन यह सर्जरी करवाने की सलाह दे सकते हैं -
- कैंसर से संबंधित दर्द जो दवाओं से ठीक न हो पाए
- स्ट्रोक के बाद होने वाला दर्द
- ओसीडी से होने वाले लक्षण जैसे -
- दूषित होने का डर
- खुद या किसी अन्य को नुकसान पहुंचाने के विचार आना (और पढ़ें - खुदकुशी के विचार आने का कारण)
- बार-बार सफाई करना या हाथ धोना
- चीजों को सही क्रम में व्यवस्थित रखने की आदत
- बार-बार गिनती करना
- वस्तुओं के सीधा न रखने पर बेचैनी रहना
- किसी विशेष चीज के बारे में विचार न लाना जैसे धर्म और सेक्स आदि।
- मेजर डिप्रेशन जिसे दवाओं से ठीक न किया जा सके, इसके लक्षणों में निम्न शामिल हैं -
- निराशा महसूस होना
- अत्यधिक उदासी महसूस होना
- हर समय मूड खराब रहना
- एटिपिकल ट्राइजेमिनल न्यूराल्जिया, जिससे चेहरे में लगातार दर्द व जलन महसूस होती है
- चेहरे संबंधी अन्य प्रकार के दर्द होना
बाइलैटरल सिंगुलोटॉमी किसे नहीं करवानी चाहिए?
कुछ स्थितियां हैं, जिनमें बाइलैटरल सिंगुलोटॉमी नहीं की जाती है और यदि सर्जरी करनी आवश्यक है, तो ध्यानपूर्वक की जाती है। इनमें निम्न स्थितियां शामिल हैं :
- सोशियोपेथिक पर्सनैलिटी या कोई अन्य पर्सनैलिटी डिसऑर्डर
- इमेजिंग स्कैन से मस्तिष्क में कोई घाव या अन्य क्षति दिखाई देना, जिसके कारण से मस्तिष्क ठीक से काम नहीं कर पाता है।
(और पढ़ें - मल्टीपल पर्सनैलिटी डिसऑर्डर क्या है)
बाइलैटरल सिंगुलोटॉमी से पहले - Before Bilateral cingulotomy in Hindi
बाइलैटरल सिंगुलोटॉमी से पहले क्या तैयारी की जाती है?
बाइलैटरल सिंगुलोटॉमी सर्जरी से कुछ दिन पहले आपको अस्पताल बुलाया जाता है, जिस दौरान कुछ विशेष टेस्ट किए जाते हैं। इस दौरान मरीज से उसकी पिछली शारीरिक समस्याओं के बारे में पूछा जाता है और साथ ही कुछ टेस्ट व स्कैन भी किए जाते हैं, जैसे -
- ब्लड टेस्ट
- यूरिन टेस्ट
- प्रेगनेंसी टेस्ट
- एमआरआई स्कैन
- सीटी स्कैन
इसके अलावा डॉक्टर आपको सर्जरी से पहले की तैयारी करने के लिए कुछ विशेष सलाह देते हैं -
- यदि आप धूम्रपान या शराब का सेवन करते हैं, तो सर्जरी से कुछ दिन पहले उन्हें छोड़ने को कहा जा सकता है। ऐसा इसलिए क्योंकि सिगरेट व शराब पीने से सर्जरी के बाद कई जटिलताएं हो सकती हैं। (और पढ़ें - धूम्रपान छोड़ने के घरेलू उपाय)
- ऑपरेशन वाले दिन खाली पेट अस्पताल जाएं, ऐसा करने के लिए आपको सर्जरी वाले दिन से पहली आधी रात के बाद कुछ भी खाने या पीने से मना किया जाता है।
- अस्पताल जाने से पहले नहा लें और मेकअप न करें। यदि आपने कोई आभूषण या गैजेट पहना है, तो इसे घर पर ही उतार दें।
- अस्पताल में अपने साथ किसी करीबी रिश्तेदार या मित्र को लेकर जाएं, ताकि सर्जरी से पहले और बाद में आपको मदद मिल सके।
यदि आप किसी भी प्रकार की दवा, विटामिन, मिनरल या कोई हर्बल उत्पाद ले रहे हैं, तो डॉक्टर को इस बारे में बता दें। डॉक्टर आपको इनमें से कुछ दवाओं को एक निश्चित समय के लिए छोड़ने की सलाह दे सकते हैं, जिनमें आमतौर पर रक्त पतला करने वाली दवाएं शामिल हैं जैसे एस्पिरिन, वारफेरिन और क्लोपिडोग्रेल आदि।
यदि आपको सर्जरी से एक-दो दिन पहले बुखार व फ्लू के लक्षण महसूस हो रहे हैं, तो डॉक्टर को इस बारे में बता दें। ऐसे में सर्जरी की तारीख को कुछ समय के लिए टाला जा सकता है।
सर्जरी वाले दिन आपको एक सहमति पत्र दिया जाता है, जिस पर हस्ताक्षर करके आप सर्जन को सर्जरी करने की अनुमति दे देते हैं।
(और पढ़ें - फ्लू के घरेलू उपाय)
बाइलैटरल सिंगुलोटॉमी के दौरान - During Bilateral cingulotomy in Hindi
बाइलैटरल सिंगुलोटॉमी सर्जरी कैसे की जाती है?
सर्जरी के लिए जब आप अस्पताल आ जाते हैं, तो मेडिकल स्टाफ आपको पहनने के लिए एक विशेष ड्रेस देते हैं। आपके हाथ में एक इंट्रावेनस लाइन शुरू की जाती है, जिसकी मदद से आपको सर्जरी के दौरान दवाएं व आवश्यक द्रव दिए जाते हैं। सिर के जिस हिस्से की सर्जरी की जानी है, वहां से बाल साफ कर दिए जाते हैं। इंट्रावेनस ड्रिप की मदद से सीडेटिव दवाएं दी जाती हैं, जिससे आप रिलैक्स हो जाते हैं और सर्जरी वाले हिस्से में लोकल एनेस्थीसिया का इंजेक्शन लगाया जाता है, जिससे वह हिस्सा पूरी तरह से सुन्न हो जाता है।
इसके बाद बाइलैटरल सिंगुलोटॉमी का सर्जिकल प्रोसीजर शुरू हो जाता है, जो इस प्रकार है -
- सर्जन आपके सिर पर एक स्टीरियोटेक्टिक फ्रेम लगाते हैं और फिर एमआरआई करते हैं, जिससे मस्तिष्क की संरचना की जानकारी मिल जाती है। स्टीरियोटेक्टिक फ्रेम सिर को हिलने से रोकता है, जिससे सर्जन को सर्जरी करते समय कोई दिक्कत नहीं होती।
- एमआरआई स्कैन के बाद आपको ऑपरेशन थिएटर में ले जाया जाता है, जहां पर आपकी खोपड़ी में एक छोटा चीरा लगाया जाता है और छोटा सा छिद्र बनाया जाता है।
- इसके बाद मस्तिष्क के प्रभावित हिस्से में इलेक्ट्रोड लगा दिए जाते है, जो मस्तिष्क की विद्युत गतिविधियों की जांच करेंगे।
- जब मस्तिष्क के प्रभावित हिस्से की जांच हो जाती है, तो इलेक्ट्रोड की मदद से उस हिस्से में घाव बनाया जाता है।
- इसके बाद आपकी खोपड़ी में एक विशेष ट्यूब डाली जाती है, ताकि सर्जरी के घाव में बनने वाला द्रव निकलता रहे।
- सर्जरी होने के बाद सर्जरी के घाव को बंद कर दिया जाता है। (और पढ़ें - घाव की मरहम पट्टी कैसे करें)
सर्जरी के बाद आपको कुछ दिन तक अस्पताल में ही रुकना पड़ता है, जिस दौरान निम्न प्रक्रियाएं की जाती हैं -
- आपको कुछ एक्सरसाइज व सांस लेने की तकनीक सिखाई जाती हैं, जो सर्जरी के बाद आपको जल्दी स्वस्थ होने में मदद करेंगी।
- आपको सर्जरी के बाद बुखार, मतली, सिरदर्द और पेशाब न रोक पाना आदि समस्याएं हो सकती हैं। हालांकि, ये दो या तीन दिन बाद अपने आप ठीक हो जाती हैं।
(और पढ़ें - सिर दर्द से छुटकारा पाने के उपाय)
बाइलैटरल सिंगुलोटॉमी के बाद - After Bilateral cingulotomy in Hindi
बाइलैटरल सिंगुलोटॉमी के बाद क्या देखभाल की जाती है?
सर्जरी के बाद जब आपको अस्पताल से छुट्टी मिल जाती है, तो आपको घर पर निम्न देखभाल करने की सलाह दी जाती है -
- सर्जरी वाले हिस्से को साफ व सूखा रखें। आपको सिर धोने की अनुमति दी जा सकती है, जिसके बाद आप साफ कपड़े से बालों को सुखा सकते हैं। आपको कम से कम एक हफ्ते तक हेयर ड्रायर का इस्तेमाल करने से मना किया जाता है।
- डॉक्टर की सलाह के बगैर सर्जरी के घाव पर किसी प्रकार की क्रीम, लोशन या अन्य दवा न लगाएं। आपको कम से कम दो हफ्तों तक किसी प्रकार के हेयर कलर या डाई का इस्तेमाल करने से मना किया जाता है।
- आपको कुछ एंटीबायोटिक व एंटी-सीजर (मिर्गी रोकने वाली) दवाएं दी जाती हैं, इन्हें डॉक्टर की सलाह के अनुसार लेते रहना चाहिए।
- डॉक्टर द्वारा सिखाई गई एक्सरसाइज व ब्रीथिंग तकनीक को करते रहें।
- आपको सर्जरी के बाद थोड़ा-बहुत चलने की सलाह दी जाती है और अगले कुछ दिनों में धीरे-धीरे चलने की गति व दूरी को बढ़ाने को कहा जाता है।
- जब तक डॉक्टर अनुमति न दें, भारी वस्तुओं को उठाने की कोशिश न करें। हल्की वस्तुओं को उठाते समय भी न झुकें, कमर को सीधा रखें और घुटने मोड़कर बैठें और फिर सामान उठाएं।
- ड्राइविंग या अन्य किसी मशीन को ऑपरेट करने से पहले डॉक्टर से अनुमति ले लें।
डॉक्टर को कब दिखाएं?
बाइलैटरल सिंगुलोटॉमी सर्जरी के बाद यदि आपको निम्न में से कोई भी लक्षण महसूस हो रहा है, तो डॉक्टर को जल्द से जल्द बता दें -
- बुखार
- उलझन महसूस होना
- गर्दन में अकड़न होना
- ऑपरेशन वाले हिस्से में सूजन लालिमा व जलन होना
- सर्जरी वाला घाव फिर से खुल जाना
- मांसपेशियों में कमजोरी
(और पढ़ें - मांसपेशियों की कमजोरी दूर करने के उपाय)
बाइलैटरल सिंगुलोटॉमी की जटिलताएं - Complications of Bilateral cingulotomy in Hindi
बाइलैटरल सिंगुलोटॉमी सर्जरी के क्या जोखिम हो सकते हैं?
बाइलैटरल सिंगुलोटॉमी सर्जरी को आमतौर पर सुरक्षित समझा जाता है। हालांकि, इससे भी कुछ साइड इफेक्ट्स हो सकते हैं, जिनमें निम्न शामिल हैं -
- ब्लीडिंग
- ट्रांसिएंट स्पास्टिसिटी (बोलचाल, चाल और मांसपेशियों की गतिविधि को प्रभावित करने वाली स्थिति)
- हेमिपरेसिस (शरीर के एक हिस्से में कमजोरी होना)
- पेशाब व मल त्यागने में दिक्कत होना
- शरीर का थोड़ा सा वजन बढ़ जाना
- शरीर का संतुलन बनाने में दिक्कत होना (अटैक्सिया)
- मिर्गी आना
- शारीरिक गतिविधि कम होना
- हर चीज में रुचि कम होना
(और पढ़ें - मिर्गी रोग के लिए घरेलू उपाय)
सर्जरी की लागत
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