जैसे-जैसे दुनियाभर में कोविड-19 इंफेक्शन के मामले तेजी से बढ़ रहे हैं, सार्स-सीओवी-2 वायरस से होने वाली इस बीमारी को फैलने से रोकने के लिए सभी जरूरी ऐहतियाती कदम भी उठाए जा रहे हैं। स्कूलों को बंद कर दिया गया है, सभी दफ्तर और कार्यालयों को बंद कर दिया गया है, भीड़भाड़ वाली जगहें, पब्लिक प्लेस को बंद कर दिया गया है और लोगों से कहा जा रहा है कि जब तक कोई बहुत ज्यादा जरूरी काम न हो वे घरों के बाहर न निकलें। इस बेहद संक्रामक बीमारी को फैलने से रोकने के लिए ज्यादातर अस्पतालों की ओपीडी को भी बंद कर दिया गया है। सिर्फ इमरजेंसी सेंटर्स ही खुले हैं जहां गंभीर रूप से बीमार लोगों का ही इलाज किया जा रहा है।
ऐसे समय में लोगों को चिकित्सा सुविधा या मेडिकल हेल्प हासिल करने में भी मुश्किलों का सामना करना पड़ रहा है। इस समस्या से निपटने के लिए स्वास्थ्य अधिकारियों को सुझाव दिया गया है कि वे टेलीमेडिसिन या ऑनलाइन कंसल्टेशन जैसी सुविधाओं का इस्तेमाल करें, खासकर वे लोग जिन्हें चिकित्सीय मदद की सबसे ज्यादा जरूरत है। टेलीमेडिसिन की प्रक्रिया में डॉक्टर से फोन कॉल, विडियो कॉल या मेसेज के जरिए चिकित्सीय सुझाव लिया जाता है।
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दिसंबर 2019 में चीन के वुहान शहर में जब पहली बार यह महामारी सामने आयी थी, उसके बाद मरीजों को यही सुझाव दिया गया कि वे अपने फिजिशियन से ऑनलाइन ही परामर्श लें न कि अस्पताल जाकर। कोविड-19 महामारी के दौरान ऑनलाइन परामर्श लेने के क्या फायदे हैं और क्या नुकसान, इस बारे में हम आपको इस आर्टिकल में बता रहे हैं।