पोरफाइरिया क्यूटेनिया टार्डा क्या है?

पोरफाइरिया क्यूटेनिया टार्डा (पीसीटी) एक प्रकार का पोरफाइरिया (कई अनुवांशिक रक्त विकारों का एक समूह है) या रक्त विकार है, जो त्वचा को प्रभावित करता है। पोरफाइरिया कई प्रकार का होता है और इसके सबसे आम प्रकारों में से एक पीसीटी है। इसे बोलचाल की भाषा में कभी-कभी वैंपायर डिजीज के रूप में भी जाना जाता है, क्योंकि इस बीमारी से ग्रसित लोगों में लक्षण अक्सर धूप के संपर्क में आने के बाद दिखाई देते हैं।

पोरफाइरिया क्यूटेनिया टार्डा के लक्षण

पीसीटी के ज्यादातर लक्षण त्वचा पर दिखाई देते हैं। इसके सामान्य लक्षणों में शामिल हैं:

  • सूरज के संपर्क में आने पर हाथ, चेहरे और बांहों पर फफोले
  • फोटोसेंसिविटी, यानि सूर्य के प्रति त्वचा संवेदनशील होना 
  • त्वचा का पतला या नाज़ुक होना 
  • बालों का बढ़ना (आमतौर पर चेहरे पर)
  • त्वचा पर पपड़ी बनना व निशान
  • लालिमा, सूजन या खुजली
  • त्वचा पर मामूली चोट लगने के बाद घाव बनना 
  • हाइपरपिगमेंटेशन, त्वचा के पैच का रंग गहरा होना 
  • पेशाब का रंग गहरा या लाल-भूरा होना
  • लिवर खराब होना

पोरफाइरिया क्यूटेनिया टार्डा के कारण

पीसीटी विभिन्न चीजों के कारण हो सकता है। ये कारण अनुवांशिक या पर्यावरणीय भी हो सकते हैं। अनुवांशिक कारणों में शामिल हैं:

  • परिवार में कोई पोरफाइरिया क्यूटेनिया टार्डा से ग्रस्त हो
  • परिवार में किसी को लिवर कैंसर या लिवर से संबंधित कोई बीमारी हो
  • लिवर में सामान्य से ज्यादा आयरन हो

पर्यावरणीय कारणों में शामिल हैं:

लेकिन कुछ मामलों में, पोरफाइरिया क्यूटेनिया टार्डा के सही कारण को जानना मुश्किल हो जाता है।

पोरफाइरिया क्यूटेनिया टार्डा का इलाज

इस बीमारी के इलाज के सामान्य विकल्पों में शामिल हैं:

  • फ्लबॉटमी सर्जरी (आयरन को कम करने के लिए खून निकालना)
  • क्लोरोक्वीन (मलेरिया को रोकने के लिए इस्तेमाल की जाने वाली दवा)
  • हाइड्रोक्सीक्लोरोक्वीन (मलेरिया की रोकथाम और उपचार के लिए इस्तेमाल की जाने वाली दवा)
  • दर्द की दवाएं
  • आयरन सेलेटर्स (आयरन की मात्रा को कम करने वाली दवाई)
  • पोरफाइरिया क्यूटेनिया टार्डा के कारणों को ट्रिगर करने वाले रोगों का इलाज करना जैसे कि एचसीवी या एचआईवी

पोरफाइरिया क्यूटेनिया टार्डा के इलाज में सबसे आम उपचारों में से एक फ्लबॉटमी को माना जाता है। इसमें एंटी-मलेरियल दवाइयां भी अक्सर उपयोग की जाती हैं।

पोरफाइरिया क्यूटेनिया टार्डा के इलाज के लिए आम जीवनशैली में किए जाने वाले बदलावो में शामिल हैं:

  • शराब से परहेज
  • धूम्रपान न करना
  • धूप से बचना
  • सनस्क्रीन का उपयोग करना
  • त्वचा पर चोट लगने से बचना
  • एस्ट्रोजन न लेना

आमतौर पर यह बीमारी 30 वर्ष से अधिक उम्र के वयस्कों को प्रभावित करती है। यह ब्लड डिसऑर्डर (खून का एक विकार) है, जो ज्यादातर त्वचा को प्रभावित करता है। यदि किसी की त्वचा सूर्य के प्रति अधिक संवेदनशील है, तो उसे सूर्य से बचने के लिए अतिरिक्त सावधानी बरतने की जरूरत है, क्योंकि सूर्य की तेज रोशनी में त्वचा पर फफोले पड़ना सामान्य है। इस बीमारी के सामान्य इलाज में फ्लेबोटमी और एंटीमलेरियल गोलियां शामिल हैं।

Dr Shishpal Singh

डर्माटोलॉजी
5 वर्षों का अनुभव

Dr. Sarish Kaur Walia

डर्माटोलॉजी
3 वर्षों का अनुभव

Dr. Rashmi Aderao

डर्माटोलॉजी
13 वर्षों का अनुभव

Dr. Moin Ahmad Siddiqui

डर्माटोलॉजी
4 वर्षों का अनुभव

और पढ़ें...
ऐप पर पढ़ें