लिंग मुद्रा ऐसी योग मुद्रा है, जिसकी मदद से शरीर के अंदर गर्मी को केंद्रित कर सकते हैं. नियमित रूप से इस मुद्रा के अभ्यास से बढ़ता वजन, अस्थमा, कमजोर इम्यूनिटीसेक्स संबंधी समस्याओं इत्यादि को दूर किया जा सकता है. इस मुद्रा का अभ्यास करना बहुत ही आसान है. इसमें अपने हाथों के अंगूठे को शिवलिंग की तरह आकार देना होता है.

आज इस लेख में आप लिंग मुद्रा के फायदे, करने का तरीका और सावधानियों के बारे में विस्तार से जानेंगे -

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  1. लिंग मुद्रा करने का तरीका
  2. लिंग मुद्रा के फायदे
  3. लिंग मुद्रा करते समय बरतें सावधानियां
  4. सारांश
लिंग मुद्रा करने का तरीका व फायदे के डॉक्टर

लिंग मुद्रा को करना आसान है, लेकिन इसके अभ्यास के दौरान कुछ बातों का ध्यान जरूर रखना चाहिए. आइए, लिंग मुद्रा को करने की प्रक्रिया के बारे में क्रमवार तरीके से जानते हैं -

  • लिंग मुद्रा को करने के लिए सबसे पहले एक स्थान पर खड़े हो जाएं या बैठ जाएं.
  • इसके बाद दोनों हाथों को छाती के सामने लाकर हथेलियों को आपस में मिलाएं.
  • अब दोनों हाथों की उंगलियों को इंटरलॉक करें.
  • इसके बाद बाएं हाथ के अंगूठे को ऊपरी दिशा की ओर सीधा रखें, जबकि दाएं हाथ के अंगूठे को बंद रखें.
  • इस मुद्रा में करीब 10 से 15 मिनट तक रहें और सामान्य रूप से सांस लेते रहें.
  • इस मुद्रा को दिन में कम से कम 15 मिनट तक किया जा सकता है.
  • नियमित रूप से इस मुद्रा का अभ्यास करने से शरीर को कई लाभ हो सकते हैं.

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लिंग मुद्रा का नियमित रूप से अभ्यास करने से शरीर को कई फायदे हो सकते हैं. खासतौर से यह सांस से जुड़ी परेशानी को दूर करने में लाभकारी है. इसके अलावा, यह गले में खराश व कफ इत्यादि को दूर करने में भी प्रभावी है. आइए, लिंग मुद्रा के फायदों के बारे में विस्तार से जानते हैं -

सांस से जुड़ी परेशानी करे ठीक

लिंग मुद्रा का नियमित रूप से अभ्यास करने से सांस से जुड़ी समस्याएं कंट्रोल हो सकती हैं. खासतौर से बदलते मौसम में होने वाली समस्याओं, जैसे- अस्थमा अटैक, गले में खराश इत्यादि को दूर करने में यह प्रभावी होता है. अगर लिंग मुद्रा का अभ्यास नियमित रूप से किया जाए, तो यह खांसी की परेशानी से राहत मिल सकती है.

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इम्यूनिटी करे बूस्ट

लिंग मुद्रा का अभ्यास करने से इम्यूनिटी बूस्ट होती है. इस मुद्रा का अभ्यास करने से बीमारियों से लड़ने की क्षमता बढ़ती है, जिसकी वजह से बदलते मौसम में होने वाली समस्याएं, जैसे- सर्दी-जुकाम, खांसी व बुखार इत्यादि परेशानियों से बचाव किया जा सकता है.

सेक्सुअल लाइफ करे बेहतर

लिंग मुद्रा का नियमित रूप से अभ्यास करने से सेक्सुअल लाइफ बेहतर हो सकती है. इसके अलावा लिंग मुद्रा का नियमित अभ्यास करने से मन को शांति मिलती है. साथ ही यह यौन उत्तेजना को बढ़ाने में भी मदद कर सकती है.

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वजन करे कंट्रोल

शरीर के बढ़ते वजन को कंट्रोल करने के लिए लिंग मुद्रा का नियमित रूप से अभ्यास किया जा सकता है. इस मुद्रा के साथ-साथ वजन को कम करने के लिए अन्य योगासनएक्सरसाइज के साथ-साथ सही डाइट व संतुलित लाइफस्टाइल का पालन करना भी जरूरी है.

शरीर को करे डिटॉक्सिफाई

लिंग मुद्रा का नियमित रूप से अभ्यास करने से शरीर में जमा गंदगी बाहर निकल सकती है. इससे शरीर में अतिरिक्त फैट भी कम होता है. इसके अलावा, लिंग मुद्रा शरीर की गंदगी को साफ करके बॉडी टोन को बेहतर करने में असरदार हो सकती है.

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डायबिटीज करे कंट्रोल

लिंग मुद्रा का नियमित रूप से अभ्यास करने से डायबिटीज की समस्या कंट्रोल हो सकती है. यह मुद्रा शरीर में ब्लड शुगर को कंट्रोल कर सकती है. ऐसे में लिंग मुद्रा डायबिटीज रोगियों के लिए लाभकारी है.

पीरियड्स की परेशानी करे दूर

लिंग मुद्रा के नियमित अभ्यास से पीरियड्स में होने वाली समस्याएं को कंट्रोल किया जा सकता है. इससे पीरियड्स के दौरान होने वाले दर्द, ऐंठन और कम ब्लीडिंग की परेशानी दूर हो सकती है. ऐसे में पीरियड्स के दौरान इस मुद्रा का नियमित अभ्यास लाभकारी हो सकता है.

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ब्लड प्रेशर रखे नियंत्रित

लिंग मुद्रा का अभ्यास करने से ब्लड प्रेशर को संतुलित रखा जा सकता हैं. नियमित रूप से इस मुद्रा का अभ्यास करने से ब्लड प्रेशर नियंत्रित रहता है. साथ ही इस मुद्रा के अभ्यास से दिल से जुड़ी बीमारी होने का खतरा भी कम रहता है.

लिंग मुद्रा का अभ्यास नियमित रूप से किया जा सकता है. इस योग मुद्रा को किसी भी समय आसानी से किया जा सकता है. इस मुद्रा को करते समय कुछ सावधानियां बरतने की आवश्यकता होती है, जैसे -

  • लिंग मुद्रा का अभ्यास करते समय बाएं अंगूठे को हमेशा ऊपर की ओर रखें.
  • हाई ब्लड प्रेशर से ग्रसित व्यक्तियों को लिंग मुद्रा न करने की सलाह दी जाती है.
  • पित्त दोष की परेशानी होने पर लिंग मुद्रा का अभ्यास नहीं करना चाहिए.
  • पेट में किसी तरह की परेशानी खासतौर से अगर ट्यूमर है, तो इस मुद्रा का अभ्यास नहीं करना चाहिए.

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लिंग मुद्रा स्वास्थ्य के लिए फायदेमंद है. इस मुद्रा का नियमित रूप से अभ्यास करने से बढ़ता वजन, डायबिटीज व इम्यून सिस्टम को कंट्रोल किया जा सकता है. इस मुद्रा को आसान तरीके से किसी भी समय किया जा सकता है. बस मुद्रा का सही स्टेप्स जानना जरूरी है. वहीं, कुछ स्थितियों में जैसे - पित्त दोष, हाई ब्लड प्रेशर इत्यादि परेशानी में लिंग मुद्रा का अभ्यास न करने की सलाह दी जाती है.

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Dr. Smriti Sharma

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