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घुटनों में दर्द क्या है?

घुटनों में दर्द होना एक सामान्य समस्या है, जो सभी उम्र के लोगों को हो सकती है। कई बार घुटनों में दर्द किसी चोट लगने के कारण भी होने लगता है, जैसे लिगामेंट का टूटना (लिगामेंट एक रेशेदार और लचीला ऊतक होता है जो दो हड्डियों को आपस में जोड़ता है) या कार्टिलेज का फटना (कार्टिलेज एक कठोर और लचीले सफेद रंग कें ऊतक होते हैं, जो घुटने, गले और श्वसन तंत्र समेत शरीर के कई भागों में होते हैं)। इनके अलावा घुटनों में दर्द अन्य कई रोगों के कारण भी होता है, जैसे गठिया, गाउट और संक्रमण आदि।

घुटनों में हल्के दर्द के ज्यादातर प्रकार स्व-देखभाल व अन्य सामान्य उपायों से ठीक हो जाते हैं। कुछ फिजीकल थेरेपी और घुटने के ब्रेसिज़ (एक उपकरण जो घुटनों को सहारा देने में मदद करता है) भी घुटनों के दर्द से राहत देने में मदद कर सकते हैं। हालांकि, कुछ मामलों में घुटनों के दर्द को खत्म कने के लिए सर्जरी की भी जरूरत पड़ सकती है।

घुटनों में दर्द के लक्षण - Knee Pain Symptoms in Hindi

घुटनों के दर्द के साथ अन्य क्या लक्षण हो सकते हैं?

कारण के अनुसार, घुटने के दर्द की जगह व गंभीरता अलग-अलग हो सकती है। कुछ लक्षण व संकेत जो कभी-कभी घुटनों के दर्द के दौरान दिखाई देते हैं,

  • सूजन और जकड़न
  • प्रभावित त्वचा लाल होना और छूने पर गर्म महसूस होना
  • कमजोरी व अस्थिरता (और पढ़ें - कमजोरी दूर करने के घरेलू उपाय)
  • घुटने से आवाज आना (टांग या घुटने को हिलाते समय)
  • घुटने को पूरी तरह से सीधा करने में असमर्थता

डॉक्टर को कब दिखाना चाहिए?

निम्न लक्षण दिखाई देने पर तुरंत डॉक्टर को दिखाना चाहिए -

  • अगर घुटने शरीर व अन्य वजन सहन ना कर पा रहे हों 
  • घुटनों पर अधिक सूजन दिखाई दे
  • घुटनें को पूरी तरह से सीधा करने और मोड़ने में असमर्थ हों 
  • टांग या घुटने में कोई स्पष्ट विकृति दिखाई दे
  • घुटने में दर्द, सूजन और लाल होने के अलावा बुखार होना
  • ऐसा लगना कि आपका घुटना अस्थिर है या घुटना "बाहर निकल गया है"

घुटनों में दर्द के कारण - Knee Pain Causes in Hindi

घुटनों में दर्द क्यों होता है?

घुटनों में क्रॉनिक (दीर्घकालिक) दर्द से अस्थायी दर्द (थोड़े समय का दर्द) अलग होता है। काफी लोगों में अस्थायी दर्द चोट या किसी दुर्घटना के कारण होता है। घुटनों के क्रॉनिक दर्द बहुत ही कम मामलों में बिना इलाज के ठीक हो पाते हैं। ये हमेशा एक ही घटना के कारण से नहीं होते, अक्सर ये कई परिस्थितियों व कारणों के परिणाम से होता है।

कुछ शारीरिक समस्या या रोग जो घुटनों में दर्द का कारण बन सकते हैं, जिनमें निम्न शामिल है,

  • ऑस्टियोआर्थराइटिस – ऑस्टियोआर्थराइटिस में जोड़ों के बिगड़ने और उनकी बद्तर स्थिति होने के कारण दर्द, सूजन और अन्य समस्याएं होने लगती हैं।
  • टेंडिनाइटिस – इसमें घुटने के अगले हिस्सें में दर्द होता है, जो सीढ़ियां चढ़नें और चलते समय और अधिक बद्तर हो जाता है।
  • बर्साइटिस – बर्साइटिस घुटने का बार-बार सामान्य से अधिक इस्तेमाल करना, या चोट आदि लगने से होता है।
  • गाउट – यह गठिया का एक रूप होता है, जो यूरिक एसिड बनने की वजह से होता है।
  • बेकर्स सिस्ट बेकर्स सिस्ट में घुटने के पीछे सिनोवियल द्रव (जोड़ों में चिकनाई लाने वाला द्रव) का निर्माण होने लगता है।
  • संधिशोथ – रूमेटाइड आर्थराइटिस एक क्रॉनिक सूजन संबंधी स्व-प्रतिरक्षित विकार होता है, जो दर्दनाक सूजन का कारण बन सकता है, और अंत में हड्डियों में विकृति और क्षय (घिसना, अपरदन) का कारण बन सकता है।
  • डिस्लोकेशन – हड्डियों के जोड़ उखड़ने या जगह से हिल जाने को डिस्लोकेशन कहा जाता है, घुटने की उपरी हड्डी (टॉपी) का डिस्लोकेशन अक्सर आघात के कारण ही होता है।
  • मेनिस्कस टियर – घुटने के कार्टिलेज में एक या उससे ज्यादा टूट-फूट होना
  • लिगामेंट का फटना – लिगामेंट एक रेशेदार और लचीला ऊतक होता है, जो दो हड्डियों को आपस में जोड़ने में मदद करता है। घुटने में स्थित चार लिगामेंट में से एक का भी टूटना घुटने के दर्द का कारण बन सकता है। क्षतिग्रस्त लिगामेंट में ज्यादातर इंटीरियर क्रूसिएट लिगामेंट (ACL) के मामले पाए जाते हैं।
  • हड्डियों के ट्यूमर – ऑस्टियोसार्कोमा कैंसर, दूसरा सबसे प्रचलित हड्डियों का कैंसर होता है, यह सबसे ज्यादा घुटनों में ही होता है।

कुछ कारक जो घुटनों के क्रॉनिक दर्द को और बद्तर बना देते हैं, जिनमें शामिल हैं -

  • घुटने के ढांचे पर चोट लगना सूजन व खून बहने का कारण बन सकती है, और अगर इसका ठीक से इलाज ना किया जाए तो समय के साथ-साथ यह क्रॉनिक दर्द जैसी समस्याएं भी पैदा कर सकती है।
  • घुटनों में मोच (मरोड़) या खिंचाव
  • घुटनों का ज्यादा इस्तेमाल करना
  • संक्रमण होना
  • गलत मुद्रा व ढंग से शारीरिक गतिविधियां करना
  • किसी शारीरिक गतिविधि को करने से पहले और बाद में, वॉर्म-अप और कूलिंग डाउन ना करना (गतिविधियों को धीरे-धीरे शुरू और खत्म करने की प्रक्रिया)
  • मांसपेशियों को अनुचित तरीके से स्ट्रेच करना

घुटनें में दर्द होने का जोखिम किन वजह से बढ़ सकता है?

मोटे लोगों के लिए घुटने संबंधी समस्याओं के जोखिम ज्यादा होते हैं। सामान्य से अतिरिक्त वजन होने पर, चलते, भागते और सीढ़ियों पर चढ़ते समय हर अतिरिक्त 1 किलो वजन का घुटनों पर 3.5 किलो जितना दबाव पड़ता है।

अन्य कारक जो क्रॉनिक घुटने के दर्द के लिए जोखिम बढ़ा देते हैं, इनमें शामिल हैं -

  • उम्र
  • पहले कोई आघात या चोट लगी होना
  • अधिक खेल-कूद और शारीरिक व्यायाम 

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घुटनों में दर्द से बचाव - Prevention of Knee Pain in Hindi

घुटनों के दर्द की रोकथाम के तरीके

हालांकि घुटने के दर्द को हर बार रोक पाना संभव नहीं होता, निम्न कुछ सुझाव घुटनों की अंदरूनी व बाहरी चोटों और अन्य जोड़ संबंधी समस्याओं की रोकथाम करने में मदद कर सकते हैं -

  • अतिरिक्त वजन कम करें – अपना स्वस्थ वजन बनाएं रखें, यह आपने घुटनों के स्वास्थ्य के लिए सबसे अच्छे उपायों में से एक है। (और पढ़ें - मोटापा कम करने के उपाय)
  • स्पोर्ट गतिविधियों के लिए फिट रहें – किसी प्रकार के खेल में हिस्सा लेने से पहले अपनी मांसपेशियों को तैयार करने के लिए, उनको खेल के अनुकूलि बनाने के लिए समय निकालें।
  • शरीर को मजबूत और लचीला रखें – मांसपेशियों की कमजोरी घुटनों की अंदरूनी चोटों के प्रमुख कारणों में से एक होती हैं। इसलिए शरीर में क्वाड्रिसिप्स (Quadriceps; जांघ के अगले हिस्से में एक बड़ी मांसपेशी) और हैमस्ट्रिंग (Hamstring; घुटने की पीछे की मांसपेशियां) मांसपेशियों को मजबूत बना लेना चाहिए, क्योंकि ये मांसपेशियां घुटनों को सहारा देती हैं। अधिक टाइट मांसपेशियां भी अंदरूनी चोटों का कारण बन सकती हैं, इसलिए समय पर शरीर को स्ट्रेच करना जरूरी होता है।
  • सावधानी से व्यायाम करें – अगर आपको ऑस्टियोआर्थराइटिस, क्रॉनिक घुटने के दर्द या घुटने में बार-बार होने वाली अंदरूनी समस्याएं हैं, तो आपको व्यायाम करने के तरीके को बदलने की आवश्यकता हो सकती है। कम से कम सप्ताह के कुछ दिनों के लिए, स्विमिंग (तैराकी) या अन्य कम प्रभाव वाली गतिविधियों से बदलाव करने पर विचार करें। कभी-कभी अधिक प्रभाव वाली गतिविधियों को सीमित करने पर राहत मिल जाती है। (और पढ़ें - स्विमिंग के फायदे)

घुटनों में दर्द का परीक्षण - Diagnosis of Knee Pain in Hindi

घुटनों के दर्द का निदान कैसे किया जाता है?

शारीरिक परिक्षण के दौरान, डॉक्टर निम्न तरीके अपना सकते हैं -

  • सूजन, दर्द, टेंडरनेस (tenderness; छूने पर दर्द होना), गर्म होना और दिखने वाली चोटों (नील पड़ना आदि) के लिए घुटने की जांच करना।
  • यह देखना कि मरीज अपनी टांग के निचले हिस्से को किस दिशा में कहां तक ले जा या हिला सकता है।
  • घुटने के ढांचे की हालत को मूल्यांकन करने के लिए, घुटने के जोड़ को खींचकर औऱ दबाकर देखना।

ज़रुरत पड़ने पर आपके डॉक्टर कुछ टेस्ट कराने को कह सकते हैं। इनमें शामिल हैं -

1. इमेजिंग टेस्ट -

कुछ मामलों में, डॉक्टर ऐसे परीक्षणों का सुझाव दे सकते हैं, जैसे:

  • एक्स-रे – डॉक्टर सबसे पहले एक्स-रे का सुझाव दे सकते हैं। इसकी मदद से हड्डियों में फ्रैक्चर और अन्य जोड़ संबंधी रोगों का पता लगाने में मदद मिलती है।
  • सी.टी स्कैन - सीटी स्कैन हड्डी की समस्याओं का निदान करने और घुटने के जोड़ों के ढीले हिस्सों का पता लगाने में मदद कर सकता है।
  • एमआरआई – एमआरआई का प्रयोग नरम ऊतकों की चोटों को प्रत्यक्ष करने के लिए किया जाता है, जैसे लिगामेंट्स, टेंडन्स कार्टिलेज और मांसपेशियां।

2. लेब लेस्ट -

अगर संक्रमण या गाउट जैसी समस्याओं का संदेह होता है, तो डॉक्टर ब्लड टेस्ट कर सकते हैं। कई बार अर्थरोसेंटिसिस (arthrocentesis) भी किया जा सकता है - इस प्रक्रिया में सूई की मदद से एक घुटने में से थोड़ी सी मात्रा में द्रव निकाला जाता है। उस द्रव को विश्लेषण के लिए लैब में भेज दिया जाता है।

घुटनों में दर्द का इलाज - Knee Pain Treatment in Hindi

घुटनों के दर्द का उपचार क्या है?

घुटना का उपचार पूरी तरह से उसके कारण पर निर्भर करता है। कुछ चिकित्सीय विकल्प इस प्रकार हैं - 

1. दवाएं -

दर्द से राहत देने और अंतर्निहित स्थितियों (जैसे रयूमेटोइड आर्थराइटिस या गाउट) का इलाज करने में मदद के लिए डॉक्टर दवाइयां कुछ लिख सकते हैं।

2. थेरेपी -

घुटने के आसपास की मांसपेशियों को मजबूत बनाना घुटनें को और अधिक स्थिर बनाता है। ट्रेनिंग का मुख्य मुख्य उद्श्य होता है जाघों की अगली मांसपेशियों (quadriceps) और हैमस्ट्रिंग मांसपेशियों (hamstrings) को मजबूत बनाना। अपने शारीरिक संतुलन में सुधार करने के लिए भी व्यायाम काफी महत्वपूर्ण होता है।

कुछ स्थितियों में, घुटने के जोड़ों को सुरक्षा और सहायता प्रदान करने के लिए, कुछ प्रकार के उपकरणों का इस्तेमाल किया जाता है, जैसे ब्रेसिज, व अन्य प्रकार के सहारा देने वाले उपकरण।

3. इन्जेक्शन्स -

कुछ मामलों में, इन्जेक्शन दवाओं को सीधे प्रभावित जोड़ में लगाने का सुझाव दे सकते हैं, जिनके उदाहरण शामिल हैं,

  • कोर्टिकोस्टेरॉयड  – इस दवा का इन्जेक्शन घुटनों के जोड़ में लगाने से गठिया के लक्षणों को कम कर देता है, और कुछ महीनों के लिए दर्द से आराम प्रदान करता है। यह इन्जेक्शन सभी मामलों में काम नहीं करता, और इससे संक्रमण के जोखिम की थोड़ी सी संभावना होती है।
  • सप्लिमेंटल लूब्रीकेशन – यह एक गाढ़ा द्रव होता है, जो जोड़ों के प्राकृतिक द्रव जैसा ही होता है। गतिशीलता (चलने-फिरने) में सुधार लाने और दर्द को कम करने के लिए इस द्रव को इन्जेक्शन द्वारा घुटनों में डाला जाता है। इसके सिर्फ एक इन्जेक्शन या पूरी सीरिज से 6 महीने से एक साल तक आराम रहता है।

3. सर्जरी -

अगर ऐसी चोट लगी है जिसको सर्जरी की जरूरत है, तो ज़रूरी नहीं है कि तुरंत ऑपरेशन करना पड़े। सर्जरी के बारे में कोई भी निर्णय लेने से पहले, "नॉन-सर्जिकल रिहेबिलिटेशन" (बिना सर्जरी के उपचार) और सर्जरी से संबंधित फायदे और नुक्सान पर विचार करें। यदि आप सर्जरी करने का विकल्प चुनते हैं, तो सर्जरी के विकल्पों में निम्न शामिल हो सकते हैं -

  • आर्थरोस्कोपिक सर्जरी – इसका प्रयोग घुटनें को जोड़ों से ढिलेपन को निकालना, क्षतिग्रस्त कार्टिलेज को हटाना या मरम्मत करना और उसके बाद लिगामेंट्स का फिर से निर्माण करने के लिए किया जाता है।
  • घुटने के जोड़ बदलने का ऑपरेशन – घुटनों के जोड़ बदलने की सर्जरी में, सर्जन (डॉक्टर) जांघों की हड्डी, पिंडली की हड्डी और घुटने से क्षतिग्रस्त हड्डी और कार्टिलेज को काटकर निकाल देते हैं, और उनको कृत्रिम अंगों से बदल देते हैं। ये कृत्रिम अंग मिश्र धातु, हाई-ग्रेड प्लास्टिक और पॉलिमर से बने होते हैं।

घुटनों में दर्द के नुकसान - Knee Pain Complications in Hindi

घुटनों में दर्द से क्या जटिलताएं हो सकती हैं?

सभी घुटनों के दर्द गंभीर नहीं होते। लेकिन कुछ घुटनों की चोटें और मेडिकल स्थिति अगर उनको अनुपचारित छोड़ दिया जाए तो, ऑस्टियोआर्थराइटिस, जोड़ों में नुकसान और विकलांगता जैसी समस्याएं पैदा कर सकती हैं। घुटने में अंदरूनी चोट लगना, यहां तक कि अगर वह मामूली भी है, तो भी वह भविष्य में इन समस्याओं की संभावना बढ़ा देती है।

घुटने का दर्द किसकी कमी से होता है? - Deficiency of what causes knee pain in Hindi?

विटामिन डी की कमी के चलते घुटने का दर्द होता है. इसके चलते मासपेशियों में दर्द और ज्वाइंट्स में भी दर्द होने लगता है. इससे रुमेटाइ़ड आर्थराइटिस की समस्या हो सकती है. ऐसा इसीलिए क्योंकि विटामिन डी शरीर को कैलशियम पहुंचाने का काम करती है जिससे हमारी हड्डियां मजबूत होती हैं. यदि शरीर में विटामिन डी की कमी है तो इससे हड्डियां सॉफ्ट और कमजोर हो सकती हैं.

पैरों के घुटने में दर्द हो तो क्या करना चाहिए? - What should I do if I have knee pain in Hindi?

घुटनों में दर्द होने पर एकदम इनएक्टिव न हो जाएं. घुटनों को एक्टिव रखना ज़रूरी होता है. इसके लिए अगर आपको अपने लिए उचित एक्सरसाइज न मालूम हो तो अपने डॉक्टर या फ़िज़ियोथेरेपिस्ट से सलाह लें.

अधिक दर्द होने पर डॉक्टर को दिखाएं. खुद को गिरने से बचाएं. इसके लिए सीढ़ियों पर हैंड रेल, मजबूत सीढ़ी या फुट स्टूल का इस्तेमाल करें. अपने घुटने को थोड़ा आराम दें, सूजन को कम करने के लिए बर्फ लगाएं, एक कंप्रेसिव बैंडेज पहनें और अपने घुटने को किसी चीज के सहारे ऊंचा करके रखें. ज्यादा वजन न बढ़ाएं. ऐसे जूतों का इस्तेमाल करें जिससे चलने में परेशानी न हो. अधिक आराम भी न करें जिससे आपकी मांसपेशियां कमजोर हो सकती हैं.

घुटनों में दर्द के लिए क्या करें - What to do for knee pain in Hindi?

केमिस्ट के पास बिना डॉक्टर की पर्ची की दवाइयों जैसे इब्यूप्रोफेन और नाप्रोक्सेन सोडियम की मदद से घुटने के दर्द को कम किया जा सकता है.

कई बार लोग घुटने के दर्द के आसपास के क्षेत्र की मालिश कर, या घुटने को सुन्न करने वाली क्रीम जैसे लिडोकेन या कैप्साइसिन क्रीम के जरिए भी घुटनों के दर्द में राहत पा सकते हैं.

घुटनों के दर्द से कई बार दिनभर की गतिविधियों को रोककर, शरीर को आराम देकर भी छुटकारा पाया जा सकता है. घुटनों में हल्की चोट के लिए जहां एक या दो दिन का आराम काफी होता है तो वहीं बड़ी चोट के ठीक होने में लंबा समय लगता है.

इसके अलावा घुटनों पर बर्फ से कोल्ड कंप्रेस (ठंडी सिकाई) कर दर्द और सूजन को कम किया जा सकता है. बर्फ से की गई सिंकाई सुरक्षित होती है, लेकिन इसे 20 मिनट से ज्यादा देर तक नहीं किया जा सकता है, क्योंकि इससे नसों और त्वचा को हानि पहुंचने का डर होता है.

इसके अलावा हीट पैक और गर्म पानी की बोतल से भी घुटनों के दर्द को कम किया जा सकता है.

Dr. G Sowrabh Kulkarni

ओर्थोपेडिक्स
1 वर्षों का अनुभव

Dr. Shivanshu Mittal

ओर्थोपेडिक्स
10 वर्षों का अनुभव

Dr. Saumya Agarwal

ओर्थोपेडिक्स
9 वर्षों का अनुभव

Dr Srinivas Bandam

ओर्थोपेडिक्स
2 वर्षों का अनुभव

घुटनों में दर्द की दवा - OTC medicines for Knee Pain in Hindi

घुटनों में दर्द के लिए बहुत दवाइयां उपलब्ध हैं। नीचे यह सारी दवाइयां दी गयी हैं। लेकिन ध्यान रहे कि डॉक्टर से सलाह किये बिना आप कृपया कोई भी दवाई न लें। बिना डॉक्टर की सलाह से दवाई लेने से आपकी सेहत को गंभीर नुक्सान हो सकता है।

OTC Medicine NamePack SizePrice (Rs.)
Rhuto Oil 60 mlएक बोतल में 60 ml ऑयल125.0
Ontop Vedics Ortho 21 Advanced Oil 100 mlएक बोतल में 100 ml ऑयल235.0
Rheumato Roll On 60mlएक बोतल में 60 ml लिक्विड180.0
Ontop Vedics Ortho 21 Advanced Oil 50 mlएक बोतल में 50 ml ऑयल130.0
Jagat Pharma ISO Pain Relief Roll Onएक बोतल में 30 ml लिक्विड115.0
Volitra Plus Gel 30gmएक ट्यूब में 30 gm जेल140.6
Volitra Plus Gel 50gmएक ट्यूब में 50 gm जेल201.4
Rhuto Oil 30 mlएक बोतल में 30 ml ऑयल76.0
Capsigyl D Gelएक ट्यूब में 30 gm जेल63.65
Volitra Plus Spray 55gmएक बोतल में 55 gm स्प्रे185.25

घुटनों में दर्द से जुड़े सवाल और जवाब

सवाल 4 साल से अधिक पहले

मेरी उम्र 59 साल है। दाएं पैर में घुटने के निचले हिस्से में दर्द होता है। मैं वॉकर के बिना चल भी नहीं पाता हूं। बैठते समय पैरों में दर्द नहीं होता, लेकिन चलने में दर्द महसूस होता है। मैं क्या करूं?

ravi udawat MBBS , सामान्य चिकित्सा

उम्र के साथ घुटनों में दर्द की समस्या पैदा होने लगती है। आपको पैर में दर्द और चलने में दिक्कत हो रही है, तो डॉक्टर को दिखाएं और घुटने का सीटी स्कैन करवा लें।

सवाल 4 साल से अधिक पहले

मेरी मां को पिछले 2-3 सालों से घुटने में दर्द है, पैर और उंगलियां में सूजन रहती है। उनके इलाज के लिए हमें क्या करना चाहिए?

Dr. Haleema Yezdani MBBS , सामान्य चिकित्सा

उम्र के साथ-साथ घुटनों के जोड़ में मौजूद ग्रीस (साइनोवियन फ्लुइड) घटने लगती है जो घुटनों में होने वाले दर्द का कारण बन जाती है। आप अपनी मां को घुटनों की गर्म सिकाई करने के लिए कहें, इसी के साथ उन्हें पैरों को क्रॉस करके बैठने, पालथी मारकर बैठने, फर्श पर बैठने के लिए मना करें और उन्हें ज्यादा से ज्यादा आराम करने के लिए कहें।

सवाल 4 साल से अधिक पहले

जब भी मैं अपने घुटने मोड़ता हूं तो इनमें आवाज होती है। कुछ दिनों से मेरे घुटनों में दर्द भी शुरू हो गया है। मुझे अपने घुटनों को ठीक रखने के लिए कोई एक्सरसाइज बताएं?

Dr. Rajeev Kumar Ranjan MBBS, MS , यूरोलॉजी, सामान्य शल्यचिकित्सा, लेप्रोस्कोपिक सर्जरी, प्रसूति एवं स्त्री रोग

घुटनों को मोड़ते समय जो ध्वनि होती है उसे क्रेपिटस ध्वनि कहते हैं। अगर आपको क्रेपिटस ध्वनि के साथ पैर में दर्द भी महसूस होता है, तो आपको घुटनों की जांच करवा लेनी चाहिए। फिजियोथैरेपी की मदद से घुटने के दर्द को कम किया जा सकता है। इसके लिए आप फिजियोथैरेपिस्ट को दिखाएं। घुटनों के दर्द के लिए आप बटक किक्स एक्सरसाइज कर सकते हैं, यह एक्सरसाइज जोड़ों पर किसी तरह का दबाव बनाए बिना घुटने के पीछे की नसों को मजबूती देता है, इससे घुटने की गतिशीलता बढ़ती है और रक्त प्रवाह को बेहतर करने में मदद करती है। इस एक्सरसाइज को करने के लिए सबसे पहले फर्श या बेड पर पेट के बल लेट जाएं। अपने पैरों को सीधा रखें। अब अपने पैरों को उठाएं और नितंब की ओर लाने की कोशिश करें। जितना संभव हो नितंब की ओर ले आएं। धीरे-धीरे पहली वाली स्थिति में लौट आएं। इस एक्सरसाइज को 10 से 25 बार करें। 

सवाल 4 साल से अधिक पहले

मेरी उम्र 47 साल है। मुझे लगभग हर महीने घुटना जाम होने के साथ बहुत ज्यादा दर्द होता है। इस दौरान घुटने से जुड़ी गतिविधियां भी नहीं कर पाता हूं। कृपया बताएं मैं क्या करूं?

Dr. Mayank Yadav MBBS , सामान्य चिकित्सा

आप घुटनों को मजबूती देने वाली एक्सरसाइज करें जो आपको दोबारा दर्द होने से बचाएगी। इसके साथ आप घुटनों पर गर्म सिकाई करें। अगर इसके बाद भी आपको दर्द होता है, तो अपना विटामिन-बी12 और विटामिन-डी टेस्ट करवा लें।

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