शहरी माहौल में समय की कमी और काम की टेंशन में लोगों को खाने का समय ही नहीं मिल पाता है। ऐसे में सही तरह से खाना न खा पाने की वजह से अधिकतर लोगों में पोषण की कमी होने लगती है और यही कमी धीरे धीरे व्यक्ति की कार्य क्षमता को कम करने का मुख्य कारण होती है। शहर के अलावा ग्रामीण इलाकों में भी अधिकतर लोगों को इसी तरह की समस्या का सामना करना पड़ता है। शरीर में होने वाली विटामिन की कमी को पूरा करने के लिए डॉक्टर व्यक्ति को मल्टीविटामिन टेबलेट, सिरप या कैप्सूल लेने की सलाह देते हैं।

मल्टीविटामिन की बढ़ती उपयोगिता को देखते हुए आपको इस लेख में मल्टीविटामिन के बारे में विस्तार से बताया जा रहा है। साथ ही इस लेख में मल्टीविटामिन क्या है, मल्टीविटामिन किसे लेनी चाहिए, मल्टीविटामिन के फायदे, मल्टीविटामिन के नुकसान और मल्टीविटामिन कैप्सूल, सिरप और टेबलेट में से क्या है बेहतर आदि के बारे में भी विस्तार से बताने का प्रयास किया गया है। 

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  1. मल्टीविटामिन क्या है - Multivitamin kya hota hai in hindi
  2. मल्टीविटामिन किसे लेनी चाहिए - Multivitamin kise leni chahiye in hindi
  3. मल्टीविटामिन के फायदे - Multivitamin ke fayde in hindi
  4. मल्टीविटामिन के नुकसान - Multivitamin ke nuksan in hindi
  5. मल्टीविटामिन कैप्सूल, सिरप और टैबलेट में क्या है बेहतर - Multivitamin capsule, sirup and tablets me kya hai behtar

मल्टीविटामिन कई विटामिन का संयोजन होता है, जो सामान्य रूप से आपके आहार और अन्य प्राकृतिक स्रोतों में पाएं जाते हैं। मल्टीविटामिन का उपयोग तब किया जाता है, जब आप अपनी डाइट से शरीर के लिए आवश्यक विटामिन नहीं ले पाते हैं। किसी बीमारी, गर्भावस्था, कुपोषण, पाचन संबंधी विकार और अन्य स्वास्थ्य स्थितियों के कारण शरीर में विटामिन की कमी होने पर भी मल्टीविटामिन दिए जाते हैं।

(और पढ़ें - विटामिन ए की कमी का इलाज)

मल्टीविटामिन दवाओं को बनाने के लिए कोई निश्चित मानक नहीं है, साथ ही इनके द्वारा मिलने वाले पोषण और विटामिन की मात्रा दवा बनाने वाली कंपनी के आधार पर अलग अलग हो सकती है। बाजार में इन दवाओं को मल्टीविटामिन्स, मल्टीमिनरल्स, मल्टीस, मल्टीपल्स और सिंप्ली विटामिन आदि कई नामों से भी जाना जाता है। मल्टीविटामिन बाजार में टैबलेट्स, कैप्सूल्स, चबाने वाली गोलियां, पाउडर और सिरप जैसे कई रूपों में उपलब्ध है।

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मल्टीविटामिन दवा कैसे बनती है

व्यक्ति को स्वस्थ रहने के लिए करीब 13 विटामिन और 16 मिनरल्स की आवश्यकता होती है। शरीर में होनी वाली एंजाइम प्रतिक्रियाओं, हार्मोन्स के कार्य, संरचनात्मक तत्व और अणु के संकेतों में मल्टीविटामिन महत्वपूर्ण भूमिका अदा करते हैं। शरीर को प्रजनन, विकास और शारीरिक प्रक्रियाओं को नियंत्रित करने के लिए सभी पोषक तत्वों की आवश्यकता होती है।

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शरीर के लिए आवश्यक विटामिन और मिनरल को मिलाकर दवा बनाई जाती है, लेकिन इसका रूप और मात्रा भिन्न हो सकती है। इसके साथ ही मल्टीविटामिन में अमिनो एसिड, फैटी एसिड और कई जड़ी बूटियां भी मिलाई जाती है। आहार के सप्लीमेंट्स को लेकर कोई विशेष नियम नहीं है, इसीलिए मल्टीविटामिन की दवाओं के लेबल में बताएं गए पोषक तत्व की मात्रा कम या ज्यादा हो सकती है। कुछ मामलों में सूची के अनुसार मल्टीविटामिन में मिलाएं गए पोषक तत्वों की संख्या में भी कमी हो सकती है।

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myUpchar के डॉक्टरों ने अपने कई वर्षों की शोध के बाद आयुर्वेद की 100% असली और शुद्ध जड़ी-बूटियों का उपयोग करके myUpchar Ayurveda Urjas Capsule बनाया है। इस आयुर्वेदिक दवा को हमारे डॉक्टरों ने कई लाख लोगों को सेक्स समस्याओं के लिए सुझाया है, जिससे उनको अच्छे प्रभाव देखने को मिले हैं।

मल्टीविटामिन सभी व्यक्तियों को लेनी चाहिए या नहीं इस तथ्य की पुष्टि नहीं की जा सकती है। कुछ मामलों में मल्टीविटामिन लोगों के लिए हानिकारक भी हो सकती है। हालांकि कुछ विशेष आयु वर्ग और समूह के लोगों को मल्टीविटामिन से विशेष फायदे मिल सकते हैं, जैसे:

  • बुजुर्ग:
    व्यक्ति की आयु बढ़ने के साथ ही विटामिन बी 12 के अवशोषण की प्रक्रिया में कमी आ जाती है। इसके साथ ही वृद्ध व्यक्तियों को कैल्शियम और विटामिन डी की भी अधिक आवश्यकता होती है। अधिक आयु होने पर पेट में कम हाइड्रोक्लोरिक एसिड स्रावित होता है, जिससे भोजन को पेट में तोड़ना और पोषक तत्वों के अवशोषण में बाधा आने लगती है। (और पढ़ें - संतुलित आहार चार्ट)
     
  • शाकाहारी लोग:
    जो लोग शुद्ध शकाहारी होते है उनमें विटामिन बी12 की कमी होने की संभावनाएं अधिक होती है, क्योंकि यह विटामिन केवल मांसहारी भोजन से ही प्राप्त होता है। साथ ही ऐसे व्यक्तियों को कैल्शियम, जिंक, आयरन, विटामिन डी और ओमेगा-3 फैटी एसिड की भी कमी हो सकती है।(और पढ़ें - आयरन की कमी का इलाज)
     
  • गर्भवती और स्तनपान कराने वाली महिलाएं:
    गर्भवती और स्तनपान कराने वाली महिलाओं को मल्टीविटामिन लेने से पहले अपने डॉक्टर से सलाह लेनी चाहिए। इसके साथ ही जो महिलाएं प्रेग्नेंसी पर विचार कर रहीं हैं उनको रोजाना करीब 400 माइक्रोग्राम फोलिक एसिड लेना चाहिए, इससे न्यूरल ट्यूब डिफेक्ट होने का जोखिम कम हो जाता है। इस समय महिला द्वारा रोजाना विटामिन डी की करीब 10 माइक्रोग्राम मात्रा लेने से भ्रूण के विकास में सहायता मिलती है। जिन मल्टीविटामिन में उच्च मात्रा में आयरन, फोलिक एसिड और विटामिन डी होता है, उन्हें गर्भवती महिलाओं के लिए सही माना जाता है। (और पढ़ें - गर्भावस्था में फोलिक एसिड का महत्व)
     
  • 6 माह से 5 साल तक के बच्चे:
    विशेषज्ञ 6 माह से 5 वर्ष की आयु तक के बच्चों को विटामिन ए, विटामिन सी और विटामिन डी युक्त मल्टीविटामिन लेने की सलाह देते हैं। ये सभी विटामिन बच्चे को शुरूआती सालों में लेना जरूरी होता है। विशेष रूप से ये विटामिन उन बच्चों के लिए आवश्यक होते हैं जो खाना खाने में आनाकानी करते हैं। (और पढ़ें - विटामिन बी5 के फायदे)
     
  • खिलाड़ी:
    जो व्यक्ति खिलाड़ी या एथलिट होते हैं उनको अन्य लोगों की अपेक्षा अपनी मांसपेशियों को ठीक करने और फिटनेस को बनाएं रखने के लिए अधिक पोषक तत्वों की आवश्यकता होती है। थोड़े समय के लिए भार वाली एक्सरसाइज करने के बाद क्रिएटिन (creatine) और एमीनो एसिड आपकी मांसपेशियों को जल्द ठीक करने में सहायक होते हैं। (और पढ़ें - मांसपेशियों में दर्द के उपाय)
     
  • पोषण की कमी होना:
    कई तरह के अध्ययन से पता चला है कि अधिकतर लोग अपनी डाइड के माध्यम से पर्याप्त पोषक तत्व प्राप्त नहीं कर पाते हैं। जमीन की खराब गुणवत्ता के कारण भी ऐसा हो सकता है, क्योंकि ऐसी जगह पर उगी सब्जियों और फलों में पोषण की कमी होती है। विटामिन और मिनरल्स के साथ ही मल्टीविटामिन लेने से पोषक तत्वों की कमी पूरी होती है। (और पढ़ें - खट्टे फल खाने के फायदे)
     
  • धूम्रपान:
    नियमित रूप से धूम्रपान करने वाले लोगों को उच्च मात्रा में विटामिन सी की आवश्यकता होती है। सिगरेट के केमिकल की वजह से बनने वाले फ्री रेडिकल्स को नियंत्रित करने के लिए यह एंटीऑक्सीडेंट विटामिन महत्वपूर्ण होता है। विटामिन बी12 भी धूम्रपान करने वालों के लिए आवश्यक होता है, क्योंकि धूम्रपान करने वालों में विटामिन बी12 सिरम स्तर बेहद ही कम होता है। कुछ तथ्य बताते हैं कि सिगरेट पीने वाले जो लोग उच्च मात्रा में बीटा कैरोटीन नहीं लेते या इनको अनदेखा कर देते हैं, उनको फेफड़ों का कैंसर होने की संभावना बढ़ जाती है। (और पढ़ें - फेफड़ों को स्वस्थ रखने के उपाय​)
     
  • किसी विशेष तरह की डाइट लेना:
    जब आप लगातार एक विशेष तरह की डाइड लेते हैं तो यह भी शरीर में पोषक तत्वों की कमी का कारण हो सकता है। उदाहरण के लिए शुद्ध शाकाहारी भोजन खाने वालों में विटामिन बी 12 की कमी हो सकती है क्योंकि यह विटामिन मुख्य रूप से मांसाहारी भोजन, दुग्ध उत्पादों और अंडों में पाया जाता है। ऐसे में आपको मल्टीविटामिन लेने की आवश्यकता हो सकती है। (और पढ़ें - मीट खाने के फायदे)
     
  • सूर्य की रोशनी में कम बैठना:
    विटामिन डी अच्छी सेहत की नींव माना जाता है, लेकिन केवल आहार से इसकी आवश्यकता की पूर्ति कर पाना मुश्किल होता है। रोजाना विटामिन डी के करीब 10 माइक्रोग्राम सप्लीमेंट्स लेने से शरीर में विटामिन डी की कमी नहीं होती है। (और पढ़ें - सूर्य की रोशनी के फायदे)

मल्टीविटामिन लेने से शरीर में होने वाली पोषक तत्वों की कमी पूरी हो सकती है और व्यक्ति का कई रोगों से बचाव हो सकता है। इसके आलावा मल्टीविटामिन से होने वाले फायदों को निम्नलिखित रूप से विस्तार से बताया गया है।

  • ऊर्जा को बढ़ाए:
    अगर आपके शरीर को पर्याप्त विटामिन नहीं मिलते हैं तो ऐसे में आपका शरीर हल्के काम को करने में भी अधिक ऊर्जा खर्च करने लगता है, जिसकी वजह से आपको थकान और स्वास्थ्य संबंधी अन्य समस्याएं हो जाती हैं। जबकि मल्टीविटामिन लेने और स्वस्थ्य दिनचर्या अपनाने से आप ऊर्जावान और फिट रहते हैं। (और पढ़ें - थकान दूर करने के उपाय)
     
  • मूड को सुधारे:
    कुछ अध्ययन बताते हैं कि जो लोग मल्टीविटामिन लेते हैं, उनके मूड पर सकारात्मक प्रभाव होते हैं और वह भावनात्मक रूप से भी मजबूत बनते हैं। दरअसल पर्याप्त मात्रा में विटामिन और मिनरल्स लेने से आपके दिमाग का कार्य बेहतर होता है और उसका सीधा असर आपके मूड पर पड़ता है।
     
  • तनाव को कम करे:
    रोजाना मल्टीविटामिन लेने से तनाव और चिंता का स्तर कम होता है। शरीर भोजन को ऊर्जा में बदलने के लिए विटामिन बी का उपयोग करता है। शरीर विटामिन बी का उपयोग भोजन को ऊर्जा में बदलने के लिए करता है, इससे तंत्रिका तंत्र ठीक तरह से कार्य करता है और स्ट्रेस हार्मोन का उत्पादन होता है। रोजाना मल्टीविटामिन लेने से आपके शरीर में विटामिन की कमी पूरी होती है। (और पढ़ें - चिंता दूर करने के उपाय
     
  • याद्दाश्त को बढ़ाए:
    हाल ही में हुए अध्ययन से पता चला है कि विटामिन बी आपकी कम अवधी की याद्दाश्त (short term memory) को सर्पोट प्रदान करता है। शोध में जिन व्यस्कों को विटामिन बी 12 सप्लीमेंट्स के रूप में दिया गया उनका मेमोरी टेस्ट सप्लीमेंट ना लेने वालों के मुकाबले काफी अच्छा आया।(और पढ़ें - याददाश्त बढ़ाने के उपाय)
     
  • मांसपेशियों की क्षमता बढ़ाए:
    फ्री रेडिकल्स (हानिकारक तत्व) मुख्य रूप से आयु संबंधी मांसपेशियों की समस्या से संबंधित होते हैं। नियमित मल्टीविटामिन लेने से ऐसे फ्री रेडिकल्स के दुष्प्रभाव को कम किया जा सकता है। 

(और पढ़ें - मांसपेशियों की कमजोरी दूर करने के उपाय)

मल्टीविटामिन को हमेशा डॉक्टर की सलाह के बाद ही लेना चाहिए। यदि आपको मल्टीविटामिन के कारण किसी तरह की एलर्जिक रिएक्शन जैसे शीतपित्ती, सांस लेने में परेशानी होना, चेहरे, होंठ, जीभ और गले में सूजन के लक्षण दिखाई दें तो ऐसे में आपको इलाज के लिए तुरंत डॉक्ट के पास जाना चाहिए।

सभी लोगों में मल्टीविटामिन के अलग-अलग दुष्प्रभाव होते हैं। डॉक्टर की सलाह के बाद मल्टीविटामिन लेने से इससे होने वाले दुष्प्रभावों की संभावना कम हो जाती है। मल्टीविटामिन के निम्नलिखित कुछ मामूली साइड इफेक्ट हो सकते हैं:

(और पढ़ें - सिर दर्द में क्या खाएं)

myUpchar के डॉक्टरों ने अपने कई वर्षों की शोध के बाद आयुर्वेद की 100% असली और शुद्ध जड़ी-बूटियों का उपयोग करके myUpchar Ayurveda Kesh Art Hair Oil बनाया है। इस आयुर्वेदिक दवा को हमारे डॉक्टरों ने 1 लाख से अधिक लोगों को बालों से जुड़ी कई समस्याओं (बालों का झड़ना, सफेद बाल और डैंड्रफ) के लिए सुझाया है, जिससे उनको अच्छे प्रभाव देखने को मिले हैं।

बाजार में मिलने वाली मल्टीविटामिन कई रूपों जैसे टैबलेट, कैप्सूल और सिरप आदि के रूप में मिलती है। प्रत्येक प्रकार की मल्टीविटामिन के अलग अलग फायदे और नुकसान हो सकते हैं।

  • टैबलेट
    • लेने के फायदे:
      यह छोटे आकार की होती है और आसानी से स्टोर की जा सकती है। साथ ही यह सस्ती होती है और लंबे समय तक खराब नहीं होती हैं। (और पढ़ें - दवा की जानकारी)
       
    • लेने के नुकसान:
      कुछ लोगों को गोलियां निगलने में मुश्किल होती है। (और पढ़ें - विटामिन बी6 के फायदे)
  • सोफ्ट जैल कैप्सूल
    • लेने के फायदे:
      कैप्सूल टैबलेट के मुकाबले अधिक अच्छी तरह से अवशोषित होती हैं।
       
    • लेने के नुकसान:
      कैप्सूल टैबलेट जितने लंबे समय तक ठीक नहीं रहती है और यह सिरप के मुकाबले धीमी गति से अवशोषित होती हैं। (और पढ़ें - विटामिन K की कमी का इलाज)
  • सिरप
    • लेने के फायदे:
      तरल रूप में मौजूद मल्टीविटामिन सिरप आसानी से पी जा सकती है। साथ ही इसकी अवशोषित होने की दर 100 फीसदी होती है। सिरप में मौजूद विटामिन और मिनरल्स आसानी से रक्त में मिल जाते है।
       
    • लेने के नुकसान:
      इसका जीवनकाल लंबा नहीं होता है यानि जल्दी खराब हो जाती है और इनको कहीं ले जाना भी मुश्किल होता है। साथ ही यह मल्टीविटामिन बेहद ही मंहगी होती हैं।

(और पढ़ें - हरी सब्जियां खाने के फायदे)


उत्पाद या दवाइयाँ जिनमें मल्टीविटामिन है

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